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25 को शिकारीपाड़ा में शुरू होगी प्रधानमंत्री एलपीजी पंचायत योजना

रांची। झारखंड संभावनाओं से भरा प्रदेश है। यहां कोयला और स्टील प्रचुर मात्रा है। इनका पेट्रोलियम उत्पादों के विकल्प के तौर पर कोयले का उपयोग किया जा सकता है। कोल से मिथेन गैस बनाकर विदेशी पूंजी बचायी जा सकती है। केंद्र सरकार का पेट्रोलियम मंत्रालय इसमें सहयोग करे। राज्य सरकार हर संभव सहयोग के लिए तैयार है। उक्त बातें मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहीं। श्री दास केंद्रीय पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस सह कौशल विकास मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के नेतृत्व में गैस व तेल कंपनियों के अधिकारियों के साथ बैठक में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि पेट्रोलियम कंपनियों के लिए डिपो, पाइपलाइन, बॉटलिंग प्लांट, सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन आदि के लिए जमीन समेत अन्य जरूरतों को पूरा करने में पूर्ण सहयोग कर रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि 25 जनवरी को शिकारीपाड़ा में प्रधानमंत्री एलपीजी पंचायत योजना की शुरुआत की जायेगी। राज्य में एलपीजी गैस के वितरण में तेजी लायी जायेगी। इस वर्ष 24 लाख एलपीजी गैस कनेक्शन देने का लक्ष्य है। केंद्रीय मंत्री ने उज्जवला योजना में झारखंड के सहयोग और प्रगति की सराहना करते हुए कहा कि यहा दूसरे राज्यों के लिए रोल मॉडल है। उन्होंने कहा कि जल्द ही राज्य में पाइपलाइन, सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन, बॉटलिंग प्लांट, टर्मिनल आदि की शुरुआत की जायेगी। अगले दो से तीन माह में राज्य में 6-7 हजार करोड़ रुपये की परियोजनाएं धरातल पर उतरेंगी। इससे न केवल रोजगार के अवसर पैदा होंगे, बल्कि राज्य के औद्योगिकीकरण में भी मदद मिलेगी। यहां के स्टील प्लांट को गैस की सप्लाई होने पर उच्च गुणवत्ता के स्टील उत्पाद तैयार हो पायेंगे। 
बड़ी-बड़ी ऑटोमोबाइल कंपनियां यहां अपने प्लांट लग सकेंगी। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि रांची व जमशेदपुर शहर मे पाइपलाइन के माध्यम से घरेलु गैस की आपूर्ति के लिए निर्माण कार्य का शिलान्यास जल्द किया जायेगा। झारखंड में जो योजनाएं शुरू होनेवाली है, उनके पूर्ण होने के बाद अगले 25 साल तक झारखंड की आवश्यकताओं की पूर्ति होगी। राज्य में कोयले की अधिकता को देखते हुए यहां कोल से मिथेन गैस बनाने के प्लांट लगाये जायेंगे।

बैठक में गेल के जगदीशपुर-हल्दिया व बोकारो धर्मा पाइपलाइन, ओएनजीसी के कोल बेड मिथेन ब्लॉक, बीपीसीएल, एचपीसीएल व आइओसीएल के डिपो, एलपीजी प्लांट, बॉटलिंग प्लांट की क्षमता बढ़ाने, सिंदरी खाद कारखाने के शुरू करने संबंधी विषयों पर विस्तार से चर्चा हुई। इस दौरान विकास आयुक्त अमित खरे समेत राज्य सरकार के सभी आला अधिकारी, गेल, ओएनजीसी, तेल कंपनियां के वरीय अधिकारी उपस्थित थे।

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