इन वजहों से कैश की समस्या से जूझ रहे हैं लोग
नई दिल्ली। झारखंड सहित देश के कई राज्यों
के लोग कैश की समस्या से जूझ रहे हैं। एटीएम में नो कैश के बोर्ड लगे हैं। देशभर
में एक बार फिर नोटबंदी जैसे हालात हो गए हैं। हालांकि इस बार सरकार ने नोटबंदी या
कोई नई घोषणा नहीं की। रिजर्व बैंक के सूत्रों की मानें तो देश के सामने ये समस्या
लगातार पड़े त्योहारों के कारण हुई है। बिहु और बैसाखी जैसे त्यौहारों के कारण कैश
की समस्या उत्पन्न हुई है। शीर्ष बैंक के मुताबिक दो से तीन दिनों में स्थिति
सामान्य हो जाएगी। सरकार ने इस समस्या से निपटने के लिए राज्य स्तर पर कमेटी बनाई है।
आरबीआई ने करेंसी ट्रांसफर करने के लिए कमेटी बनाई है।
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने कहा कि
देशभर के बैंकों में पर्याप्त कैश मौजूद है। कुछ स्थानों पर अचानक मांग बढ़ने से समस्या
हुई है। कुछ क्षेत्रों में कैश की समस्या को दूर किया जा चुका है। हम देशभर में
कैश करेंसी की स्थिति का पुनरावलोकन कर रहे हैं। इस मामले में राज्य वित्तमंत्री
एसपी शुक्ला ने कहा कि हमारे पास कुल 1,25,000 करोड़ रुपए की कैश करेंसी है। कुछ
राज्यों के साथ समस्या जरूर है, जहां कम करेंसी है। कई राज्यों में
ज्यादा करेंसी है।
सरकार इसके लिए राज्स स्तर पर कमेटी का
गठन कर रही है। राज्यों में पैसे भेजने के लिए आरबीआई ने भी कमेटी का गठन किया है।
इस समस्या को तीन दिनों में सुलझा लिया जाएगा। बता दें कि बिहार, गुजरात, मध्य
प्रदेश, यूपी और तेलंगाना के कई शहरों में एटीएम के
खाली होने की खबरें हैं।
जब नोटबंदी हुई थी तब 15 लाख करोड़
रुपए के नोट बाजार में थे। आज साढ़े सोलह लाख करोड़ के नोट छापकर बाजार में भेजे
गए हैं। लेकिन दो-दो हजार के नोट कहां जा रहे हैं, कौन
दबाकर रख रहा है,
कौन नकदी की कमी पैदा कर रहा है। यह
षडयंत्र है।' बता दें कि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इन
राज्यों में जिस तेजी से लोग ATM से नकदी निकाल रहे हैं उस तेजी से
बैंकों में रकम जमा नहीं हो रही है।
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